विसंके जयपुर 18 मई 2017। सरकारों को चाहिए की रासायनिक खेती की जगह किसानों को ज्यादा से ज्यादा सरल नियम बनाते हुए तथा अन्य व्यवस्थाऐं देते हुए जैविक खेती की तरफ भारतीय कृषि को ले जाने का प्रयास करें। यह वक्तव्य था भारतीय किसान संघ के राष्ट्रीय संगठन मंत्री श्री दिनेश जी का । वह आज केशव विद्यापिठ जामडोली में भारतीय किसान संघ का तीन दिवसीय प्रदेश अधिवेशन के उद्द्याटन में किसानों सम्बोधित कर रहे थे। 18 से 20 मई तक चलने वाले इस प्रदेश अधिवेशन में सम्पूर्ण राजस्थान से 825 किसान भाग ले रहे है।
दिनेश जी ने सरकारों के द्वारा किसानों को दी जा रही कर्ज माफी का विरोध करते हुआ कहा की अन्नदाता को किसी भी सरकार से रहम या भीख की आवश्कता नहीं है, सरकारों को चाहिए की किसानों की फसलों को समय रहते राज्य सरकारें अगर सर्मथन मूल्यों पर भी खरीद लेती है तो भी भारत वर्ष के किसानों को नैतिक स्वाभिमान न गिराते हुए उसकी मद्द की जा सकती है।
उन्होनें कहा कि किसान और किसानी को लेकर राजनीति किसी भी दल के द्वारा नहीं कि जानी चाहिए, जो भी दल विपक्ष में बैठता व ही किसानों की बात करने लगता है और सत्ताधारी दल किसानो को छोडकर अन्य योजनाओं को विकास देने में लग जाता है जिससे भारतीय कृषि और दलदल में फंस जाती है। राजनैतिक दलों को किसानो का विश्वास जितने के लिए काम करना चाहिए।
राजनैतिक दलों को किसानों का विश्वास जितने के लिए काम करना चाहिए। भारतीय कृषि को उचाईयों पर ले जाने का कार्य करना चाहिए। किसान संघ 425 जिलों मे लगभग 22 लाख सदस्यों के साथ रचनात्मक और संगठनात्मक कार्यो से समाज को जगाने का तथा आन्दोलनों के माध्यम से सत्ताधारी सरकारों को जगाने में जुटा हुआ है।
प्रदेश महामंत्री कैलाश गंदोलिया जी ने पूरे वर्ष किसान संघ के द्वारा राजस्थान प्रदेश में किए गये कार्यो का प्रतिवेदन प्रस्तुत किया किसान संघ के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष अम्बुभाई पटेल, प्रदेश अध्यक्ष मणीलाल जी, प्रदेश संगठन मंत्री कृष्ण मुरारी जी तथा राजस्थान के विभिन्न तहसीलों से आये हुए कार्यकर्ताओं की उपस्थिति में प्रदेश अधिवेशन में किसानों के हितो कृषि नितियों पर मंथन किया जाएगा । उद्घाटन सत्र मेंं युवा कृषि विशेषज्ञ पवन टांक की पुस्तक ‘‘जैविक खेती समग्र आवधारणा’’ का भी विमोचन किया गया ।