शिवाजी महाराज के लोक कल्याणकारी राज्य के बारे में चर्चा
#जयपुर । कोरोना संक्रमण के दौर में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की शाखाएं आभासी माध्यमों से नियमित हैं। स्वयंसेवक विभिन्न डिजिटल माध्यमों से संगठन व सेवा कार्यों में भी जुटे हुए हैं। ऐसे में संघ के उत्सव भी डिजिटल माध्यमों से ही संपन्न हो रहे हैं। वर्ष प्रतिपदा के बाद अब शिवाजी महाराज के राज्याभिषेक दिनोत्सव के अवसर पर जयपुर प्रांत में हिन्दू साम्राज्य दिनोत्सव सप्ताह मनाया गया। उल्लेखनीय है कि ये छत्रपति शिवाजी महाराज का राज्याभिषेक दिवस ज्येष्ठ मास के शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी को आता है इसके अन्तर्गत कई कार्यक्रम आयोजित करके समाज को शिवाजी के व्यक्तित्व एवं कृतित्व की जानकारी दी गई।
प्रांत कार्यवाह गेंदालाल ने बताया कि 18 से 24 जून 2021 तक प्रान्त में “हिन्दू साम्राज्य सप्ताहोत्सव” विविध आयोजन हुए इस उत्सव का उत्साह स्वयंसेवकों सहित सम्पूर्ण हिन्दू समाज में दिखाई दे रहा है, इस हेतु प्रत्येक दिन के अनुसार कुछ कार्यक्रम तय किये गए थे कार्यक्रमों में लोग उत्साहपूर्वक सहभागी हुए। उन्होंने बताया कि प्रथम दिवस 18 जून को उद्घाटन सत्र मैं वक्ता प्रशिक्षण वर्ग रखा गया बौद्धिक देने वाले कार्यकर्ताओं का जिला स्तर पर प्रशिक्षण किया गया। दूसरे दिन 19 जून को हिन्दू परिवारों में बालकों को शिवाजी के बाल रूप से परिचित कराने, शिवाजी के बाल्यकाल से सम्बंधित स्वरूप सज्जा,घटनाओं, कथाओं, फिल्मों, गीत-कविताओं का उपयोग करते हुए, संघ के विद्यार्थी भाग के स्वयंसेवको को ध्यान में रखते हुए कथा-कहानी के माध्यम से विषयों सहित मैं हूं शिवाजी नामक आयोजन किया।
इसी प्रकार तृतीय दिवस 20 जून, को “मैं हूँ जीजामाता” विषय पर परिवारों में मातृशक्ति को जीजामाता बनने की प्रतिस्पर्धा सी लगी माताएँ जीजामाता का स्वरूप बनाकर उनके द्वारा बोले गए संवादों को कंठस्थ करके उसके वीडियो व ऑडियो भी बनाए।
प्रेरणा देने वाले प्रसंगों के माध्यम से प्रबोधन करना, जीजामाता विषय पर बौद्धिक, प्रश्नावली, फ़िल्म-गीत इत्यादि विद्याओं का उपयोग करते हुए जीजामाता के चरित्र से अवगत कराया।
सप्ताह के चतुर्थ दिवस 21 जून, अंतरराष्ट्रीय योग दिवस के अवसर
शिवाजी के गुरू समर्थ रामदास द्वारा प्रतिदिन किये गए सूर्य नमस्कार साधना एवं शिवाजी की विशिष्ट युद्ध पद्धति के बारे में बताया गया
उन्होंने बताया कि पंचम दिवस 22
कार्यक्रम में शिवाजी के तरूणवय से युवाओं के माध्यम से उनकी संगठन शैली से परिचित कराना इस आयु में शिवाजी के साथी योद्धा रहे जैसे- बाजीप्रभु देशपाण्डे, तानाजी मालुसरे, येसाजी कंक, जीवा माल्हा, शिवा नाई इत्यादि की घटनाओं को सामने रखना, इन विषयों पर फ़िल्म, गीत, नाटक दिखाना। प्रश्न मंच/प्रश्नोत्तरी का आयोजन की गई।
23 जून को हिन्दु साम्राज्य दिनोत्सव का मुख्य कार्यक्रम आयोजित हुआ इसमें /बस्ती/शाखा स्तर पर सपरिवार बौद्धिक वर्ग का आयोजन एवं प्रत्येक हिन्दू घर में शिवाजी के चित्र पर पुष्पांजलि अर्पित कर हिन्दु साम्राजय दिवस की चर्चा करते हुए उत्सव मनाया । इसके साथ ही समाज के अधिकांश घरों में यह कार्यक्रम आयोजित हो इसके लिए स्वयंसेवकों द्वारा प्रयास किए।
इसी प्रकार सप्तम दिवस पर
24 जून को हिन्दवी साम्राज्य की विशेषताएँ इन दो दिनों में समाज के प्रबुद्ध वर्ग (बंधु-भगिनी) इनको वेबीनार तथा अन्य साधनों के द्वारा शिवाजी महाराज द्वारा हिंदू साम्राज्य के उत्थान के लिए किये गए धार्मिक, सामाजिक, आर्थिक, राजनीतिक सुधार/नवाचार जिनके कारण हिंदवी साम्राज्य शिवाजी के बाद भी विदेशी-विधर्मियों से लोहा लेता रहा तथा उनके द्वारा किये गए लोक कल्याण के कार्य आज भी प्रासांगिक है, उन पर चर्चा, विचार गोष्ठी/प्रबोधन इत्यादि करवाए जायेंगे। शिवाजी महाराज के साम्राज्य की विशेषताएँ एवं वर्तमान समय में शिवाजी महाराज की प्रासांगिकता पर आज चर्चा करेंगे।